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Motivational Kahani In Hindi

By Deepshikha choudhary

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Importance Of Motivational Kahani In Hindi

Motivational Kahani in Hindi मेरे जीवन में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। यहाँ मैं आपके साथ एक ऐसी कहानी साझा करने जा रहा हूँ, जो मुझे अत्यंत प्रभावित करती है। इसे पढ़ने के बाद, आप भी इसके महत्व को समझेंगे। इस कहानी के माध्यम से आप जीवन में सफलता की ओर एक कदम आगे बढ़ा सकते हैं।

Motivational Kahani in Hindi

“बंदर और हाथी की दोस्ती”

बहुत समय पहले की बात है, एक जंगल में एक बंदर और एक हाथी रहते थे। वे दोनों बहुत ही अच्छे दोस्त थे।

एक दिन, बंदर ने एक बहुत ही बड़े पेड़ को देखा और सोचा, “यह पेड़ बहुत ही ऊँचा है,
मैं इस पेड़ पर कैसे चढ़ूँगा?” बंदर को चढ़ने में काफी मुश्किल हो रही थी।

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तभी वहां से हाथी गुजर रहा था। बंदर ने हाथी से कहा, “भैया, क्या आप मेरी मदद कर सकते हैं?
मैं इस पेड़ पर चढ़ना चाहता हूँ, पर मुझसे नहीं हो रहा।”

हाथी ने मुस्कराते हुए कहा, “बिल्कुल, मैं तुम्हारी मदद करूँगा।”
हाथी ने अपनी लम्बी सूंड को पेड़ के चारों ओर बाँध लिया और फिर बंदर को पेड़ पर चढ़ा दिया।

बंदर बहुत खुश हुआ और हाथी को धन्यवाद दिया। इसके बाद वो दोनों दोस्त बन गए, उनकी दोस्ती ने जंगल को और भी खुशियों से भर दिया।

इसके बाद से, बंदर और हाथी हमेशा एक-दूसरे की मदद करने लगे और उनकी दोस्ती जंगल मे सबसे अच्छी दोस्ती बन गई ।

कैसी लगी आपको ये Motivational Kahani ?

कहानी की सीख

हमेशा एक दूसरे की  मदद करने में बहुत स आनंद मिलता है।

सोने का हाथी

बहुत समय पहले की बात है, एक छोटे से गाँव में एक सुनहरे रंग का हाथी रहता था।
इस हाथी का नाम सोनू था।
सोनू बहुत ही सच्चा और दिल का अच्छा हाथी था।

वह हमेशा सभी बच्चों के साथ खेलता और उनसे  हंसी मजाक करता रहता था।

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एक दिन, उस देश के राजा ने सुना कि इस गाँव में एक सोने का हाथी है।
राजा ने सोनू को अपने दरबार में बुलवाया और उससे कहा, “तुम्हारा रंग सोने का है, इसलिए मैं तुम्हें अपने साथ रखना चाहता हूँ।”

सोनू  खुशी-खुशी राजा के साथ रहने के बारे में सोचने लगा और वहाँ चला गया।
लेकिन वह याद रखता था कि वह जैसा है, वैसा ही रहना जरुरी है।
उसने  कभी भी  अपने सोने के रंग पर घमंड नहीं किया इसीलिए वह कभी भी गाँव मे रहने वाले अपने दोस्तों को नहीं भूला ।

वह जब भी वापस आता अपने दोस्तों के साथ फिर से मजे से  पहले की तरह खेलता ।

इस Motivational Kahani की सीख

इस कहानी से हमें यह सिखने को मिलता है कि हमेशा अपने नाते और मूल्यों को बरकरार रखना जरुरी है, चाहे हम कितने भी ऊंचे पद पर पहुँच जाए।

भोला शेर

एक समय की बात है, एक चालाक खरगोश और एक शेर के बीच मित्रता थी।
एक दिन, खरगोश ने शेर को अपनी चतुराई दिखाने का फैसला किया।

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खरगोश शेर को एक झूले में बाँधकर बोला, “देखो, यह झूला कितना मजेदार है!  तुम इसमें झूल सकते हो और मैं भी तुम्हारे साथ झूलूंगा।”

शेर, जो खरगोश को अपना मित्र मानता था, झूले में चढ़ गया।
खरगोश ने झूले को तेजी से हिलाया और शेर को बाहर फेंक दिया।
खरगोश हंसते हुए बोला, “तुम इतने  बड़े मूर्ख हो कि तुम्हें अपनी आँखों से दिखाई भी नहीं देता !”

इससे शेर को बहुत बुरा लगा और शेर ने सीखा कि दोस्ती मे भी आंखे बंद करके विश्वास नहीं करना चाहिए। इसके बाद से, वह हमेशा सतर्क रहने लगा।

आशा करते हैं यह Motivational Kahani आपको अच्छी लगी होगी ।

कहानी की सीख

बच्चों यह कहानी हमे सिखाती है कि दोस्ती भले ही कितनी गहरी क्यूँ न हो, हमे अपने दोस्तों पर भी आँख बंद करके विश्वास नहीं करना चाहिए।

सबसे अच्छा तोहफा

बहुत समय पहले की बात है, एक छोटे से गाँव में एक छोटा सा बच्चा रहता था जिसका नाम डब्बू था। डब्बू बहुत ही जिज्ञासु और तेज दिमाग वाला बच्चा था। एक दिन, उसने अपने दादा से पूछा, “दादा,  सबसे अच्छा तोहफा क्या है?”

दादा मुस्कराए और बोले, “बेटा, सबसे अच्छा तोहफा विद्या है। यह तुम्हें सब कुछ सिखाती है और तुम्हारे  मस्तिष्क को तेज बनाए रखती है।”

इस पर डब्बू ने अपने दादा की बातों को सुनकर निर्णय किया कि उसे भी बहुत कुछ सीखना है। अब वह अपनी पढ़ाई मेहनत और लगन से करने लगा और एक दिन वह एक बड़ा अफसर बनकर अपने गाँव का गर्व बना।

इस Motivational Kahani को पड़कर मजा आया के नहीं ?

कहानी की सीख

इस कहानी से हमें यह सिखने को मिलता है कि शिक्षा में मेहनत करना हमें सफलता तक पहुंचा सकता है। और सबसे बड़ा तोहफा हमारे लिए  ज्ञान ही है।

खजाने की तलाश

एक गाँव में बबलू नाम का लड़का रहता था। बबलू बहुत ही खुश मिजाज और खेतों में घूमने का शौकीन था।
एक दिन उसने एक बूढ़े आदमी से अपने दोस्तों के साथ एक सुनहरे खजाने की बातें सुनीं,
बूढ़े आदमी ने कहा कि यदि वे एक साल तक अपने-अपने खेतों मे खुदाई करते रहे तो उन्हे सोना- खजाना मिल जाएगा।

बबलू ने अपने दोस्तों से मिलकर उस सुनहरे खजाने को ढूँढने का सोचा । सभी मिलकर अपने-अपने खेतों में मिट्टी की खुदाई करने लगे।

मिट्टी की खुदाई करते हुए बबलू को एक पुरानी  पायल मिल गई ।
सभी लोग बहुत ही खुश हो गए। पायल को देखकर सभी ने सोचा कि यही वह खजाना है जिसकी तलाश में वे थे।

परंतु, पास से जाते हुए बूढ़े व्यक्ति ने समझाया कि यह पायल ही वह असली खजाना नहीं है बच्चों ! जो तुम्हें खुदाई करते समय मिला है।
उसने बताया कि उन लोगों के द्वारा खेत मे की गई कड़ी मेहनत ही असली खजना है। जिससे वे सभी मेहनत, और लगनशील होना सीख सकते हैं।

Motivational Kahani की सीख कुछ इस प्रकार हैं

इस कहानी से बच्चे सिखते हैं कि असली खजाना हमारे साथ है, हमें अपने दोस्तों का साथ और समर्थन हमेशा मिलता है।
बबलू की इस कहानी से हमें यह सिखने को मिलता है कि खुशियाँ और सफलता हमेशा मिलती हैं
जब हम मिलजुलकर काम करते हैं और अपने दोस्तों का साथ देते हैं।

तितली की उड़ान (The Butterfly’s Flight)

बहुत सुंदर सा एक छोटा सा गाँव था। वहां के बच्चे रोज़ खेतों में खेलते थे और अपने ख्यालों की दुनिया में खो जाते थे।

गाँव में एक छोटी सी बच्ची थी जिसका नाम तितली था। तितली बहुत ही प्यारी और मस्तमौला थी । उसकी सबसे पसंदीदा चीज़ थी उड़ान भरना।

एक दिन, तितली ने अपने दोस्तों को बताया, “मैं चाहती हूँ कि मैं आसमान की ऊँचाईयों तक उड़ सकूँ।”

उसके दोस्तों ने हंसी में कहा, “तितली, तुम तो बस एक छोटी सी कीट हो, तुम्हें आसमान तक कैसे पहुँच हो ? तितली ने मुस्कराते हुए कहा, “मुझे विश्वास है कि मैं यह कर सकती हूँ।”

तितली ने अपना पहला कदम रखा और धीरे-धीरे उड़ान भरने लगी। शुरआत में उसका उड़ान थोड़ी छोटी थी, वह उड़ती और गिर जाती। परंतु वह कभी हार नहीं मानती थी।

कुछ दिनों बाद और कडी  मेहनत के बाद, तितली की उड़ान में सुधार हुआ। वह अब आसमान में सुंदर फूलों के पास उड़ सकती थी।

उसके दोस्तों ने उसे देखकर आश्चर्यचकित होते हुए कहा, “तितली, तुमने हमें दिखा दिया कि किसी भी सपने को पूरा करने के लिए आत्मविश्वास और कड़ी मेहनत होनी चाहिए।”

तितली ने  हंसते हुए उत्तर दिया , “हाँ, आत्मविश्वास और कड़ी मेहनत से कुछ भी मुमकिन है।”

इसके बाद से, गाँव वाले तितली की उड़ान की कहानी सुनकर प्रेरित होते रहे और यह सीखते रहे कि कुछ भी मुमकिन है जब तक हमारे दिल में आत्मविश्वास है ।

तितली की Motivational Kahani की सीख

इस कहानी से हमे यह शिक्षा मिलती है कि कोशिश करने वालों की काभी हार नहीं होती ।

कछुआ और खरगोश की मित्रता

बहुत समय पहले की बात है, एक सुंदर झील में एक कछुआ रहता था।
वह बड़ा ही उदास रहा करता था, और रोज़ झील के किनारे पर आकाश में उड़ रहे हंसों को देखकर मन ही मन उदास हुआ करता था।

एक दिन, उसे एक बहुत ही खुसमिजाज खरगोश मिला। खरगोश बहुत ही चतुर था और बड़े ही प्यार से बोलता था।
कछुआ और खरगोश ने एक दूसरे से मिलकर बहुत सारी अच्छी-अच्छी बातें की और उन दोनों में दोस्ती हो गई।

वे दोनों मिलकर कई मजेदार खेल खेलते थे और एक दूसरे के साथ हंसी-मजाक करते रहते थे।
एक दिन उन्होंने मिलकर एक बड़ी सी नाव बनाई और उसे झील में लेकर गए।
वे नाव पर बैठकर झील में घूमते रहे और बहुत मजे  करते रहे।

कछुआ नाव के पीछे बैठकर आराम से खरगोश को समझाता रहता था, और खरगोश नाव के आगे बैठकर देखता अब वह पहले से ज्यादा खुश रहता था।

एक दिन उन  दोनों ने मिलकर एक बड़ी दावात का आयोजन किया और सभी झील के जानवरों को बुलाया।
उत्सव में सभी ने बड़ी धूमधाम से मस्ती की और साथ में खाना भी बांटा।

इस तरह  कछुआ और खरगोश की मित्रता ने सभी को एक साथ मिलकर हंसी-मजाक करने का और आपस मे घुल-मिलने का मौका दिया।

उन्होंने साबित किया कि दोस्ती में ही असली खुशी है।
उनकी यह मित्रता हमेशा बनी रही और सभी झील के जानवरों ने उन्हें देखकर सीखा कि सच्ची मित्रता हमेशा खास होती है।

हमें उम्मीद है कि यह Motivational Kahani आपको जरूर पसंद आई होगी ।

कहानी की सीख

एक याचा दोस्त आपकी उदास जिदगी को खुशहाल कर सकता है ।

छोटे बंदर और बडे हाथी की कहानी

एक समय की बात है, एक छोटा सा बंदर जंगल में रहता था। वह बहुत ही खुश और खेतों में घूमने का शौकीन था।
वह अपने छोटे से आकार के बावजूद, हमेशा दूसरों की मदद करने को तैयार रहता था।

एक दिन बंदर ने एक बड़े हाथी को देखा जो अपनी सूंड से पेड़ की ऊँचाई से फल तोड़ने की कोशिश कर रहा था।
बंदर को देखकर हाथी मुस्कराया और उससे पूछा, “तू इतना छोटा क्यों है? क्या तू इतनी ऊँचाई से मेरे लिए फल तोड़ सकता है?”

बंदर ने हंसते हुए जवाब दिया, “हाँ मै तोड़ सकता हूँ इसमे बड़े होने की बात नहीं है मै आकार मे ही छोटा हूँ पर मै कुछ काम बड़ों से भी बेहतर कर सकता हूँ।” 
यह कहकर बंदर ने हाथी को मीठे-मीठे फल तोड़कर दिए। फिर बंदर हाथी से बोला “मै मेहनत और संघर्ष करने मे तुमसे कम नहीं हूँ।”

हाथी ने चौंककर कहा, “तू सच मे ही बड़ा है छोटे बंदर! मैंने गलती से तुझे छोटा समझा।”

बंदर ने कहा, “हर किसी का अपना महत्व है, बड़ा होना या छोटा होना किसी की योग्यता को नहीं दर्शाता है ।”

हाथी ने इस बात को समझा और उसने बंदर से कहा, “तू सही कह रहा है, छोटे बंदर, तू जैसा है, वैसा ही अच्छा है।”

इसके बाद से हाथी और बंदर मिलकर जंगल में सभी जानवरों की मदद करने लगे और एक-दूसरे के साथ खुशहाली से रहने लगे। उन्हे देखकर सभी जानवर जानने लगे कि असली महत्व उनके कर्मों में होता है, आकार में नहीं।

कहानी की सीख

इस Motivational Kahani से हमें यह सिखने को मिलता है कि हर चहेज़ का अपना अलग अलग महत्व होता है, किसी का शरीर, या रूप रंग किसी की योग्यता नहीं दर्शाता है।

कहानी से सबक

एक समय की बात है।
गाँव में एक छोटा सा बच्चा रहता था जिसका नाम बबलू था। बबलू बहुत ही जिज्ञासु और मेहनती था।

एक दिन बबलू ने अपने गाँव के बुजुर्गों से एक motivational कहानी सुनने का आग्रह किया।
एक बुजुर्ग ने उसे एक कहानी सुनाई, जिसमें एक अद्भुत सीख छुपी थी।

वह कहानी एक उदाहरण के रूप में इस प्रकार थी-

एक किसान एक दिन अपने आलसी बच्चों को सबक सिखाना चाहता था।

उसने अपने चारों बच्चों को सिखाने के लिए एक-एक बीज दिया और उनसे कहा की ये एक जादुई बीज है।
जो बड़े होकर तुम लोगों को धनवान बना देंगे। बच्चों ने देखा कि वह बीज बहुत छोटा है।
वह लगातार मेहनत के बिना उस बीज को बड़ा नहीं बना सकते थे।

किसान के सबसे छोटे बेटे ने उस बीज को जमीन मे बो दिया उसने देखा कुछ दिन मे उस बीज से एक पौधा निकाल आया है।
वह बड़ा खुश हुआ लेकिन उसने मेहनत करना नहीं छोड़ा और बीज को एक बड़ा पेड़ बनाने में सफल हुआ।

वहीं किसान के अन्य बेटों ने मेहनत नहीं की और वे अपने बीज को पौधा नहीं बना पाए।
कुछ समय बाद उस पेड़ पर फल आने लगे, जिसे किसान के बेटे ने बाजार मे बेच कर रुपये कमाए।
यह देख कर किसान के अन्य बेटों को बुरा भी लगा और उनकी की समझ मे एक बात आ गई कि बिना मेहनत और लगातार प्रयास के हम कुछ भी हासिल नहीं कर सकते हैं। 

कहानी की सीख

इस Motivational कहानी से बबलू ने सीखा कि मेहनत और आत्मसमर्पण से हर कठिनाई को पार किया जा सकता है।
उसने यह भी समझा कि शिक्षा हमें नए और बेहतर तरीकों से सोचने की क्षमता प्रदान कर सकती है।

चिरपी चिड़िया की कहानी

एक बार की बात है, एक जंगल में छोटी सी चिड़िया रहती थी, जिसका नाम चिरपी था।
चिरपी बहुत चुलबुली और जिज्ञासु थी। एक दिन जंगल की गहराई में चहल-पहल सुनकर वह उधर उड़ गई।
वहाँ उसने हिरणों का एक झुंड देखा, जो किसी चीज़ से घबराए हुए थे।

झुंड के एक बुजुर्ग हिरण ने समझाया, “पास के नदी किनारे एक बहुत बड़ा जाल बिछा हुआ है।
कुछ लालची आदमी जंगल के जानवरों को फँसाने की कोशिश कर रहे हैं।”

यह सुनकर चिरपी को बहुत बुरा लगा।
वह जानती थी कि जाल में फँसने के बाद उन बेचारे जानवरों का क्या हश्र होता है।
उसने सोचा, “मुझे कुछ करना चाहिए!”

फिर उसे एक विचार आया। वह नदी किनारे उड़ी और पास के गाँव में जा पहुँची।
वहाँ गाँव के चौकीदार को ढूंढकर उसने गाँव के मुखिया के पास ले जाकर सारी बात बताई।

मुखिया समझदार आदमी थे। उन्होंने तुरंत कुछ ग्रामीणों को साथ लिया और नदी किनारे पहुँचे।
वहाँ उन्होंने देखा कि वाकई में एक बड़ा जाल बिछा हुआ था।
उन्होंने सावधानी से जाल हटाया और उसे नष्ट कर दिया।

इस तरह, चिरपी की हिम्मत और बुद्धि से जंगल के कई जानवरों की जान बच गई।
सभी जानवर चिरपी की बहुत तारीफ कर रहे थे।

हमें उम्मीद है कि यह Motivational Kahani आपको जरूर पसंद आई होगी ।

कहानी की सीख

  • दूसरों की तकलीफ को देखकर उनकी मदद करना चाहिए।
  • हिम्मत और बुद्धि से बड़ी-बड़ी मुसीबतों का सामना किया जा सकता है।
  • किसी को नुकसान पहुँचाना गलत है, चाहे वह इंसान हो या जानवर।

तो बच्चों, हमें हमेशा दूसरों की भलाई का ख्याल रखना चाहिए और जरूरत पड़ने पर उनकी मदद के लिए आगे आना चाहिए।

दयालु किसान की कहानी

एक बार की बात है, हिमालय के ऊँचे पहाड़ों में एक छोटा सा गाँव था।
वहाँ एक दयालु और मेहनती किसान रहता था, जिसका नाम बबलू था।
बबलू के पास एक प्यारा सा कुत्ता था, जिसका नाम राजू था। बबलू और राजू हमेशा साथ रहते थे,
चाहे खेतों में काम करना हो या पहाड़ों पर घूमना हो।

एक सर्दियों की रात, भयंकर बर्फ़बारी हुई।
हवा ज़ोर से चल रही थी और बर्फ़ का ज़ोर लगातार बढ़ता जा रहा था।
बबलू और राजू अपने झोपड़ी में सो रहे थे, जब अचानक राजू ने भौंकना शुरू कर दिया।
बबलू ने उठकर बाहर झाँका तो उसने देखा कि एक छोटा सा बच्चा बर्फ़ में गिरा पड़ा है।
बच्चा रो रहा था और ठंड से काँप रहा था।

ज़रा भी बिना सोचे समझे, बबलू राजू के साथ बर्फ़ में दौड़ पड़ा। उन्होंने बच्चे को उठाया और उसे झोपड़ी में ले आए।
बबलू ने बच्चे को गर्म कंबल में लपेटा और उसे गरम दूध पिलाया।
बच्चा धीरे-धीरे शांत हो गया और सो गया।

सुबह होने पर, बबलू ने पाया कि बच्चा गाँव का ही था।
वह बर्फ़बारी में खेलते हुए रास्ता भटक गया था।
बबलू ने बच्चे को उसके माता-पिता के पास पहुँचाया।
माता-पिता अपने बच्चे को वापस पाकर बहुत खुश हुए और उन्होंने बबलू का दिल से धन्यवाद किया।

इस घटना के बाद गाँव के लोग बबलू की दयालुता और बहादुरी की तारीफ करने लगे। उन्होंने उसे “हिमालय का हीरो” का नाम दिया। बबलू और राजू गाँव के सबसे चहेते बन गए।

कहानी की सीख

  • हमें हमेशा दूसरों की मदद के लिए तैयार रहना चाहिए।
  • जानवरों के प्रति दयालु होना चाहिए।
  • मुश्किल समय में हिम्मत नहीं हारनी चाहिए।

तो बच्चों, हमें बबलू की तरह दयालु और बहादुर बनने की कोशिश करनी चाहिए। हमें हमेशा दूसरों की मदद के लिए आगे आना चाहिए और मुश्किलों का सामना करने से नहीं घबराना चाहिए।

मुझे उम्मीद है कि आपको यह कहानी पसंद आई होगी!

बहादुर मछली मोती की कहानी


एक बार की बात है, समुद्र की गहराइयों में एक छोटी सी मछली रहती थी जिसका नाम मोती था।
मोती, रंग-बिरंगी धाराओं वाली एक हंसमुख मछली थी, जो अपने मूँगे की चट्टान वाले घर में रहती थी।
वह दिन भर अपनी साथी मछलियों के साथ खेलती, समुद्री घास के मैदानों में छिपती और बुलबुले उड़ाकर मस्ती करती।

एक दिन, समुद्र में कुछ अजीब हुआ।
पानी धुंधला हो गया और एक अनजाना-सा शोर सुनाई देने लगा।
मोती ने देखा कि बड़े-बड़े जाल उसके आस-पास पानी में फैल रहे थे।
घबराकर, वह अपने कोरल होम (मूँगे की चट्टान) की ओर भागी और अंदर छिप गई।

जल्द ही, मोती को पता चला कि समुद्र में प्लास्टिक की थैलियां और बोतलें तैर रही हैं।
ये प्लास्टिक के टुकड़े जालों में फंस रहे थे और मछलियों और समुद्री जीवों को नुकसान पहुँचा रहे थे।
मोती बहुत दुखी हुई और उसने सोचा कि उसे कुछ करना चाहिए।

फिर उसे एक विचार आया। उसने अपने सभी दोस्तों को इकट्ठा किया और उन्हें प्लास्टिक को साफ करने में मदद करने के लिए कहा। साथ मिलकर, उन्होंने अपने छोटे मुंह से प्लास्टिक के टुकड़ों को उठाया और उन्हें एक बड़े कछुए को दिया, जो उन्हें दूर समुद्र के किनारे पर ले गया।

मोती और उसकी दोस्तों की मेहनत रंग लाई। धीरे-धीरे, समुद्र साफ होने लगा और मछलियां फिर से स्वतंत्र रूप से तैरने लगीं। मोती को बहुत खुशी हुई कि उसने अपने समुद्र को बचाने में मदद की है।

कहानी की सीख

  • पर्यावरण की रक्षा करना महत्वपूर्ण है।
  • छोटे कदम भी बड़ा बदलाव ला सकते हैं।
  • साथ मिलकर हम कुछ भी कर सकते हैं।

तो बच्चों, आइए हम सब मोती की तरह जागरूक बनें और अपने पर्यावरण की रक्षा के लिए प्रयास करें। छोटी-छोटी चीजें, जैसे प्लास्टिक का कम इस्तेमाल करना और कचरा साफ करना, हमारे समुद्र को स्वस्थ और खुशहाल बनाए रखने में मदद कर सकती हैं।

मुझे उम्मीद है कि आपको यह कहानी पसंद आई होगी!

“दयालु किसान” की कहानी

एक गांव में एक किसान रहता था। वह बहुत दयालु और मेहनती था। उसकी सहायता करने वाला कोई भी नहीं था। एक दिन उसे अपने खेत में निराई-गुड़ाई करते समय, एक बड़ा हीरा मिला।

वो बहुत खुश हो गया और सोचा कि इसे कैसे उपयोग में लाए। उसने एक खूबसूरत अंगूठी बनवाई और उसे अपनी पिता को दिया। उसके पिता बहुत खुश हो गए।

कुछ दिनों बाद, किसान के पिता को राजा के दरबार में जाना पड़ा। राजा ने दरबार के अंदर किसान के पिता के हाथ मे अंगूठी देखी तो राजा को बहुत आश्चर्य हुआ कि एक किसान के पास इतना कीमती हीरा कैसे हो सकता है?

उसने तुरंत किसान से पूछा- “तुम्हें यह हीरा कहाँ से मिला?”

किसान ने राजा को सब बात बता दी लेकिन राजा को किसान की बात पर यकीन नहीं आया ।

राजा ने अपने सैनिकों को किसान को चोर समझकर पकड़ने का आदेश दिया।

किसान को राजा के सैनिकों द्वारा पकड़ लिया गया, यह बात किसान के बेटे को पता चली तो उसे बहुत बुरा लगा।

उसने राजा को सबक सीखने की सोची।

उसने एक योजना बनाई, वह जनता था राजा बड़ा अंधभक्त है तो उसने एक सन्यासी का रूप बनाकर राजा के दरबार मे जाने का फैसला किया।

राजा के दरबार मे जाकर उसने राजा से कहा कि देश पर संकट आने वाला है क्यूंकि देश की जेलों मे निर्दोष लोगों को रखा हुआ है और उनकी संपतियों को राजा ने अपनी संपत्ति बनाया हुआ है ।

राजा को तुरंत यह बात समझ आ गई और उसने किसान को उसके हीरे समेत छोड़ने का फैसला किया ।

वह आखरी बार था जब राजा ने किसी निर्दोष को सजा सुनाई थी उसके बाद से राजा ने बस न्याय के काम किए। 

कहानी की सीख


“कहानी की सीख: बिना कुछ जाने किसी भी निर्दोष को सजा देना गलत बात है। “

“समझदार बंदर” की कहानी

एक जंगल में एक बहुत ही खूंखार शेर रहता था।
वह जंगल के अन्य जानवरों को परेशान करता और डराता रहता था। जंगल के अन्य जानवर उसके डर से बहुत परेशान थे।

एक दिन  जंगल में एक समझदार बंदर आया।
उसने देखा कि शेर किसी न किसी को परेशान करता रहता है। उसने सोचा कि उसे इसे रोकना ही होगा।

बंदर ने एक चाल सोची वह दौडा-दौडा शेर के पास गया और बोला कि शेर राजा आपसे बड़ा और ताकतवर शेर जंगल के दूसरे कोने मे आके रहने लगा है और वह जंगल के जानवरों से बोल रहा है कि वही है अब इस जंगल का राजा।

बंदर की बात सुनकर शेर को बड़ा गुस्सा आया, शेर चल पड़ा बंदर के पीछे। बंदर शेर को एक गुफा के पास ले गया।

उस गुफा के अंदर एक बड़ा सा कुआ भी था ।

बंदर ने शेर को इशारा किया की दूसरा शेर इसी गुफा के अंदर है , अब शेर ने जोर से दहाड़ लगाई।

शेर की दहाड़ गुफा से गूंज कर वापस आ गई ।

शेर को लगा के वाकई अंदर कोई बड़ा शेर है ।

अब शेर ने गुस्से से पूछा “कौन हो तुम? मै तुम्हें मार डालूँगा।“

गुफा से यही आवाज गूंज कर वापस आई “कौन हो तुम? मै तुम्हें मार डालूँगा।“

अब शेर को और गुस्सा आ गया वह गुस्से से गुफा के अंदर दौड़ पड़ा,
अंदर जाने के बाद अंधेरे के कारण वह कुछ देख नहीं पाया और गुफा के कुएं मे जा गिरा।

कुएं मे गिरने से शेर ने वही पर दम तोड़ दिया और जंगल के जानवरों को उस दुष्ट शेर से छुटकारा मिल गया।    

जंगल के अन्य जानवरों ने बंदर को सराहा और सबने बंदर की बहादुरी और समझदारी की बहुत तारीफ की और उसका बहुत शुक्रिया किया।

कहानी की सीख

“मोरल: इस कहानी से हमें यह सीख मिलती है कि समझदारी से ही दुश्मन का सामना किया जा सकता है।”

राजा और उसके तीन पुत्रों की कहानी

राजा और उसके तीन पुत्रों की पहली कहानी

यह कहानी एक राजा के बारे में है, जिनके तीन पुत्र थे।
राजा ने हमेशा सोचा कि उन्हें अपने पुत्रों को सम्पूर्ण विद्या देनी चाहिए।
पुत्रों की पढ़ाई समाप्त होने के बाद, राजा ने उनसे एक कठिन प्रश्न पूछा।
पहले पुत्र ने अपने उत्तर में गड़बड़ी की और उसने अपने पिता की उम्मीदों पर खरा नही उतरा।

दूसरे पुत्र ने भी अपने उत्तर में गलतियाँ की,
लेकिन उसने अपनी गलतियों से सीख ली और उसने समझ लिया कि सफलता केवल थोड़े ज्ञान से नहीं आती है,
बल्कि अनुभव से भी मिलती है।
राजा ने अपने दूसरे पुत्र को समझाया कि उसे लगातार मेहनत की जरूरत है,
राजा के बेटे ने अपने पिता की बात मानते हुए,
लगातार मेहनत करने की ठानी और अपने अनुभवों से सीखने का प्रण लिया।

राजा और उसके तीन पुत्रों की दूसरी कहानी

दूसरी कहानी में, दूसरे पुत्र ने पहले की गलतियों से सीखते हुए एक नई कोशिश की। वह बहुत मेहनत करता और अपनी पढ़ाई में काफी ध्यान देता था। कुछ समय बाद, तीसरे पुत्र भी इस कहानी में शामिल हो गया। जैसा कि उम्मीद की जा सकती थी, तीसरे पुत्र भी अपनी पढ़ाई पर ध्यान देता था और वह दूसरे पुत्र से अधिक समय खर्च करता था।

तीसरे पुत्र ने बहुत ही समझदारी दिखाई और उसने धैर्य बनाये रखकर अपने लक्ष्य को हासिल किया। उसने सबसे भारी परीक्षा में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया और राजा को गर्व महसूस कराया। राजा ने यह देखकर समझा कि उसके तीनों पुत्र अब योग्य हो चुके हैं और उनमें से तीसरे पुत्र ने दूसरे पुत्र से अधिक अच्छे अंक प्राप्त किए हैं।

कहानी की सीख

इन कहानियों में सीख का एक स्पष्ट संदेश मिलता है
जो हमे यह दिखाता है कि सीखना जीवन में बहुत महत्वपूर्ण है।
हम हमेशा कुछ न कुछ सीख सकते हैं और हमेशा अपने समय को मूल्यवान तरीके से बीता सकते हैं
अगर हम खुद को ऊपर उठाना चाहते हैं।
सीख से बढ़कर कुछ नहीं होता है।
मेरी राय में, यह Motivational Kahani in Hindi हमें प्रेरित कर सकती हैं और अपने लक्ष्य के प्रति समर्पित होकर आगे बढ़ने के लिए।

इस तरह हमने देखा कि motivational कहानियों का महत्व क्या होता है और हमें कैसे प्रेरित कर सकती हैं।
ये कहानियाँ हमारे जीवन में सफलता की और एक कदम आगे बढ़ने की प्रेरणा प्रदान कर सकती हैं।
इसलिए, आप भी अपने जीवन में motivational कहानियों का उपयोग करें और अपने लक्ष्यों को हासिल करने का सफर आरामदायक बनाएं।

संक्षेपण

Motivational Kahani in Hindi महत्वपूर्ण हैं क्योंकि वे हमें अद्भुत संदेश देती हैं। ये कहानियाँ हमें सिखाती हैं कि सीखना जीवन में बहुत महत्वपूर्ण है और हमें लगन के साथ आगे बढ़ने की प्रेरणा प्रदान करती हैं। इन कहानियों को पढ़कर हम हमारे लक्ष्य की ओर अपने कदम बढ़ा सकते हैं और सफलता को हासिल कर सकते हैं।

Keywords: Motivational कहानी, मोटीवेशनल कहानी, सीख, प्रेरणा, महत्व।

मोटिवेशनल स्टोरी क्या है?
What is motivational story?

Motivational Stories यानि प्रेरणादायक कहानियाँ ऐसी कहानियाँ होती है जिन्हे पढ़कर पढने वाले का मनोबल ऊंचा होता है और ये कहानियाँ पढने वाले को प्रेरित करती हैं यह कहानियाँ पढ़ने वाले के अंदर पाज़िटिव ऊर्जा का संचार करती है और उन्हे अपने जीवन मे आगे बढ़ने को प्रोत्साहित करती हैं। ये कहानियाँ पढ़ने वाले को जीवन के प्रति सजग और उदार बनती हैं ।
A Motivational story is a narrative that aims to inspire and uplift people. It usually centers on real-life experiences or made-up scenarios that share positive messages, promote personal development, and give the audience a sense of motivation and determination. Motivational stories are meant to encourage people to think positively, feel optimistic, and strive for personal growth.

सबसे अच्छी प्रेरक कहानी कौन सी है?
which is the best Motivational Story ?

सबसे अच्छी प्रेरक कहानी/Motivational Story पढ़ने वाले के अनुसार अलग-अलग हो सकतीं हैं। पर सबसे अच्छी प्रेरक कहानी वह है जिसे पढ़कर पढ़ने वाले को आनंद आए और साथ ही साथ वह कहानी की प्रेरणा को अपने जीवन में अपना सके ।
हमारी 10 Motivational kahani आपको अच्छी लगेंगी जैसे :- 1.“बंदर और हाथी की दोस्ती 2.सोने का हाथी 3. भोला शेर 4. सबसे अच्छा तोहफा 5. खजाने की तलाश 6. तितली की उड़ान (The Butterfly’s Flight) 7.कछुआ और खरगोश की मित्रता 8. दयालु किसान की कहानी 9. बहादुर मछली मोती की कहानी 10. “दयालु किसान” की कहानी आदि ।

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  • Deepshikha choudhary

    Deepshikha Randhawa is a skilled Storyteller, editor, and educator. With a passion for storytelling, she possess a craft of captivating tales that educate and entertain. As trained basic education teachers, her narratives resonate deeply. Meticulous editing ensures a polished reading experience. Leveraging teaching expertise, she simplify complex concepts and engage learners effectively. This fusion of education and creativity sets her apart. Always seeking fresh opportunities. Collaborate with this masterful storyteller, editor, and educator to add a touch of magic to your project. Let her words leave a lasting impression, inspiring and captivating your audience.

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  • KahaniVala

Deepshikha choudhary

Deepshikha Randhawa is a skilled Storyteller, editor, and educator. With a passion for storytelling, she possess a craft of captivating tales that educate and entertain. As trained basic education teachers, her narratives resonate deeply. Meticulous editing ensures a polished reading experience. Leveraging teaching expertise, she simplify complex concepts and engage learners effectively. This fusion of education and creativity sets her apart. Always seeking fresh opportunities. Collaborate with this masterful storyteller, editor, and educator to add a touch of magic to your project. Let her words leave a lasting impression, inspiring and captivating your audience.

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